Friday 23 May 2014

Narendra Modi Invitation to Pakistan's Prim Minister

आज तक भारत को पाकिस्तान के सन्दर्भ में कोई निर्णय लेते वक्त डरते देखा, कुछ मुस्लिम तुष्टीकरण  के  लिए, न जाने क्यों लोग पाकिस्तान को मुस्लिम तुष्टीकरण से जोड़ देते है|
आज पहली बार पाकिस्तान को डरते हुए देख रहा हूँ, ये कूटिनीतिक फैसला है की अगर नवाज शरीफ मोदी जैसे राष्ट्रवादी नेता के प्रधानमंत्री होते हुए भारत आते है, तो उनकी उन्ही के देश में कितनी थू थू होने वाली है ये उनसे बेहतर कोई न समझ सकता है, और अगर नहीं आते है तो अंतराष्ट्रीय समुदाय के सामने मुह न दिखा पायेगे|
मोदी ने  प्रधानमंत्री बनने से पहले ही पाकिस्तान को  ऐसे कूटिनीतिक दांव पेंच में फसा के रख दिया है, जहाँ से इन दोनों देशो के बीच के नए रिश्ते तय होने है|
जो लोग ये कहते हुए फिर रहे है की पिछली बार भी अटल जी की सरकार में ऐसी ही पहल की गयी थी जिसका परिणाम कारगिल युद्ध में परिवर्तिति हुआ, पर वो लोग ये भूल जाते है कि उस युद्ध में भारत की ही विजय हुई थी, उस विजय का श्रेय जितना देश के जवानो को जाता है उतना ही देश के प्रधानमंत्री के निर्णय लेने की छमता को भी जाता है, तत्कालीन भाजपा की सरकार ने जिस तरह से देश को आर्थिक और राजनीतिक रूप से मजबूत बनाये रखा, ये अपने में ही प्रशंशनीय था|
साम, दाम, दंड, भेद ये ४ तरीके होते है अपने शत्रु को हारने के लिए, ये पहला कदम है साम अर्थात प्यार से समझाना, दाम अर्थात प्रलोभन दे कर विजय पाना, दंड अर्थात युद्ध करना, भेद शत्रु को आपस में ही लड़ा कर ख़त्म कर देना|
तो मोदी जी ने तो अपने संस्कृती के हिसाब से पहला कदम उठा लिया है, आप चले या न चले मोदी जी तो चल दिए है|
जय हिन्द जय भारत!

Friday 16 May 2014

General Election 2014- A ModiFied India

बीजेपी या यूँ कहे मोदी को इतनी सीटो से जीता कर अगर संसद में देश की जनता ने भेजा है तो इसका ये मतलब बिलकुल नहीं की किसी हिन्दू , क्षत्रिय , मुस्लिम , शूद्र ने वोट किया बीजेपी या मोदी को वोट देने का मतलब हुआ इस देश ने विकाश के  लिए वोट दिया है| 
धर्मनिरपेक्षता का चोला ओढ़ने वालो के कपडे तक उतार लिए इस देश की जनता ने....
वो डरते थे की मोदी तो जुनूनी आगया तो लगातार जीतेगा देश में भी गुजरात जैसा माहौल कर देगा।
जहाँ न तो दंगे हो सकेंगे और न ही आतंकवादी हमले । ऊपर से चुनाव में कभी सीट्स भी न मिलेगी । इसीलिए २००२ क दंगो की दुहाई देने वाले आज खुद को भी मुह दिखाने क काबिल नहीं बचे ।
आम आदमी होने का दम ठोकने वाले प्लेन से लौट गए , अरे भाई बनारस ने तो पहले दिन ही कह दिया था बेटा अरविन्द तुमसे न होगा। तर्क भी गजब के थे --
1. हमारी कोई अवकात नहीं
2. हम देश बदलने आये है
3. हम तो बस संसद में रह कर वहा कुछ गलत नहीं होने देंगे
आरे भाई इतना ही जूनून था देश बदलने के लिए तो अपने घर भिवानी से ही लड़ लिया होता| इतनी दूर बनारस आने की क्या जरूरत थी, वहां की जनता आपको हस्ते हस्ते भेज देती संसद में|
पर नहीं केजरी जी ने मोदी को शीला समझा और बीजेपी को कांग्रेस असल में वो महत्वाकांछी ज्यादा दिखे ईमानदार कम|
अमेठी की जनता ने राहुल को जीता कर उन्हें अपने गले की हड्डी बना लिया अब मोदी ही जाने अमेठी वालो का क्या होगा|

सच में मैंने पहली बार देश को धर्म, जाती, परिवार इन सब से ऊपर उठ कर विकाश और देश क लिए वोट करते देखा फेसबुक जो सिर्फ जोक्स, लव पोस्ट , फ्लिर्टिंग के लिए इस्तेमाल होता था उसने देश को सही और गलत चुनना सीखा दिया|
ये किसी पार्टी व्यक्ति की नहीं सच में ये जनता की जीत है, जहाँ अब ये तय हो चूका है- गुजरात बना सकते हो तो वोट ले जाओ चाहे तुम चाय बेचने वाले ही क्यों न हो.
जय हिन्द जय भारत| ~Ranvijay
#bjp #namo #ThankYouIndia #AAP